Tuesday 9 February 2016

तेरा संग

तेरा संग

तेरी मौजूदगी मेरे लिए सुकून का अहसास है ,
जब तू पास है तो लगता है,
दुनिया मेरे पास है !
तेरा संग कितना है लुभाता ,
कैसे करूँ बयान ये कितना प्यारा अहसास है !
अब दुनिया इसे 'इश्क़' कहे तो क्या फर्क पड़ता है ,
अब उन मूर्खो को कौन समझाए ..!
ये तो उससे भी ख़ास है !!
जब तू होती है पास तो ख़ुशी सी मिलती है ..
तुझे पास आता देख मुस्कान खिलती है !!
भूल जाता हूँ सरे ग़मों को ..
जब तू हाथ में हाथ रखकर शांत रहने को कहती है !!
तेरा शान्त्वना भरा एक शब्द मेरे लिए काफी है ..
सदा तेरे पास मेरी हर गलती की माफ़ी है !!
पर जब तू दुखी होती है ..
मेरे सामने सन्नाटा सा जाता है
उन लम्हों को याद करके मेरा दिल आज भी सूख जाता है !
उन नैन अश्क़ो का निकलना भरी लग जाता है ,
समय आता है ....
जाता है..
पर दिल उन पलों को नहीं भूल पाता है !!
तेरे खिलाफ निकले एक एक शब्द का जवाब है मेरे पास
पर सिर्फ तुझसे किये वादों के चलते ये शक्श रुक जाता है !!
आज भी चाह लूँ ,
उन सबको ला दूँ तेरे कदमो के पास !
मत भूल...
आज भी मेरे समाने सारा समंदर सूख जाता है !
तुझे भी पाता है सेखियों की आदत नहीं है मुझे
पर लोगो की आदत से मेरा दिल भी घबराता है ..!
तू कहती है ध्यान मत दो,
पर ध्यान देकर उनका ध्यान और खिंच जाता है !!
तेरे लिए अकूत इज्जत है मेरे दिल में ...
इसलिए आज भी आशिक़ मिजाज तेरे सामने आने से कतराता है !
पता नहीं क्या रिश्ता था पिछले जन्म ,
जो मेरा दिल तुझे अपने इतना करीब पाता है
कोई रहे तेरे साथ रहे क्या पाता ,
पर अपनी दोस्ती की कसम ..
दूंगा हमेसा साथ ये वादा है !!
तू ठहरे मेरे संग कब तक पता नहीं ,
पर ये दोस्ती ठहरेगी सदा ये इरादा है !!
कभी दिल दुखाने का एक वादा है ,
क्यूंकि तेरा साथ मेरे लिए सबकुछ से ज्यादा है !!

‪#‎आदित्य_प्रताप_सिंह 'अनु'

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